खबर संसार देहरादून।यूसीसी पर उत्तराखंड ने खींची लम्बी लाइन!जी हा यूसीसी यानिसमान नागरिक संहिता विधेयक विधानसभा में पारित कराकर उत्तराखंड की धामी सरकार ने भाजपा शासित राज्यों के सामने लंबी लकीर खींच दी है।हालांकि इसको कानूनी रूप से फिलहाल राज्यपाल की मंजूरी और फिर राष्ट्पति की मोहर लगने की प्रोसेस बची है.
यूसीसी पर उत्तराखंड ने खींची लम्बी लाइन!
पाठको को बताये चले कि उत्तराखंड की इस लीक पर भाजपा शासित राज्यों के चलने का सिलसिला शुरू हो जाएगा। उत्तराखंड के बाद असम की भाजपा सरकार यूसीसी बिल विधानसभा में सबसे पहले पेश कर सकती है. राजस्थान सरकार भी यूसीसी लाने का एलान कर चुकी है.असम के मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा सरमा ने पिछले दिनों ही समान नागरिक संहिता लागू करने का एलान किया.
समान नागरिक संहिता’ शब्द का भारतीय संविधान के भाग 4, अनुच्छेद 44 में स्पष्ट रूप से उल्लेख
समान नागरिक संहिता एक देश एक नियम के अनुरूप है, जिसे सभी धार्मिक समुदायों पर लागू किया जाना है. ‘समान नागरिक संहिता’ शब्द का भारतीय संविधान के भाग 4, अनुच्छेद 44 में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है.
नागरिक संहिता का वादा पूरा किया
27 मई 2022 को सेवानिवृत्त न्यायाधीश रंजना प्रकाश देसाई के नेतृत्व में पांच सदस्यीय समिति गठित हुई , देश के सीमांत गांव माणा से प्रारंभ हुई यह जनसंवाद यात्रा करीब नौ महीने बाद 43 जनसंवाद कार्यक्रम करके नई दिल्ली में पूर्ण हुई।दो लाख 32 हजार से अधिक सुझाव प्राप्त हुए.
उत्तराखंड के बाद असम राजस्थान की बारी
राजस्थान सरकार भी पिछले दिनों राज्य में यूसीसी विधेयक लाने की घोषणा कर चुकी है। इस संबंध में राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा विधानसभा में बिल लाएंगी दूसरी और असम के मुख्यमंत्री हेमंत बिसवा सरमा ने भी पिछले दिनों यू सी सी यानि समान नागरिक सहिंता लागू करने की घोषणा की थी सूत्रों के अनुसार जल्द बिसवा सरकार बिधानसभा में यू सी सी विधेयक पेश कर सकती है
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